A. सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 1 से संबंधित:

आज इससे संबंधित समाचार उपलब्ध नहीं हैं।

B. सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 2 से संबंधित:

आज इससे संबंधित समाचार उपलब्ध नहीं हैं।

C. सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 3 से संबंधित:

विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी

  1. भारत को जीनोमिक्स के लिए एक कानूनी ढांचे की तत्काल आवश्यकता क्यों है?
  2. सरकार ने AI एडवाइजरी क्यों जारी की है?

D. सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 4 से संबंधित:

आज इससे संबंधित समाचार उपलब्ध नहीं हैं।

E. संपादकीय:

आज इससे संबंधित समाचार उपलब्ध नहीं हैं।

F. प्रीलिम्स तथ्य:

  1. कोझिकोड को भारत का पहला सहकारी संग्रहालय मिलेगा
  2. नौसेना ने ट्विन कैरियर ऑपरेशंस का प्रदर्शन किया
  3. रासायनिक अपक्षय से CO₂ में गिरावट की अपनी सीमाएँ हैं
  4. EFTA के साथ FTA समझौते से भारत को अधिक निवेश मिलेगा

G. महत्वपूर्ण तथ्य:

आज इससे संबंधित समाचार उपलब्ध नहीं हैं।

H. UPSC प्रारंभिक परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न:

I. UPSC मुख्य परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न:

10 March 2024 Hindi CNA
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सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 3 से संबंधित

भारत को जीनोमिक्स के लिए एक कानूनी ढांचे की तत्काल आवश्यकता क्यों है?

विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी

विषय: विज्ञान और प्रौद्योगिकी में विकास, रोजमर्रा की जिंदगी में वैज्ञानिक विकास के अनुप्रयोग

प्रारंभिक परीक्षा: जीनोमिक्स

मुख्य परीक्षा: भारत में जीनोमिक्स के लिए कानूनी ढांचे का महत्व

संदर्भ: जीनोमिक्स में महत्वपूर्ण प्रगति के बावजूद, भारत में जीनोम के अनुक्रमण, विश्लेषण और व्याख्या को विनियमित करने के लिए व्यापक कानूनी ढांचे का अभाव है।

  • नियमों की अनुपस्थिति के कारण विदेशी कंपनियों द्वारा कम निगरानी के साथ भारतीय जीनोम नमूनों का अनुक्रमण और विश्लेषण किया जाने लगा है।

कानूनी ढाँचे की आवश्यकता:

  • जैसे-जैसे जीनोमिक्स क्लिनिकल व्यवस्था में अधिक प्रचलित होता जा रहा है, वहीं भारत में इसके उपयोग को प्रशासित करने के लिए कानूनी ढांचे की तत्काल आवश्यकता है।
  • अन्य देशों ने अनुसंधान और विकास में तेजी लाते हुए जीनोमिक प्रौद्योगिकी तक समान पहुंच सुनिश्चित करने के लिए सक्रिय रूप से कानूनी और नीतिगत ढांचे तैयार किए हैं।

डेटा सुरक्षा और समता:

  • नियमों की कमी के परिणामस्वरूप विदेशी कंपनियों द्वारा व्यावसायिक उद्देश्यों के लिए भारतीय नमूनों का दोहन किया जा रहा है।
  • विभिन्न संगठनों के बीच आनुवंशिक डेटा का विखंडन सार्वजनिक स्वास्थ्य निर्णय लेने में बाधा डालता है और आनुवंशिक जानकारी के आधार पर भेदभाव को बढ़ाता है।
  • आनुवंशिक परीक्षण परिणामों के कारण बीमा और स्वास्थ्य देखभाल पहुंच में भेदभाव हो सकता है, जो कानूनी सुरक्षा की आवश्यकता पर प्रकाश डालता है।

नैतिक उपयोग और गुणवत्ता आश्वासन:

  • दुरुपयोग को रोकने और व्यक्तियों को भेदभाव से बचाने के लिए जीनोमिक प्रौद्योगिकी का नैतिक उपयोग सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है।
  • दिशानिर्देश स्थापित करने तथा जीनोमिक परीक्षणों की गुणवत्ता और वैधता सुनिश्चित करने के लिए पेशेवर निकायों और कानूनी प्रावधानों की आवश्यकता है।

महत्त्व

  • जीनोमिक प्रौद्योगिकी तक समान पहुंच सुनिश्चित करने, व्यक्तियों को भेदभाव से बचाने और हितधारकों के बीच विश्वास को बढ़ावा देने के लिए एक मजबूत कानूनी ढांचा आवश्यक है।
  • प्रभावी नियम जीनोमिक्स में सहयोग और नवाचार को प्रोत्साहित करेंगे, अंततः स्वास्थ्य देखभाल को आगे बढ़ाएंगे और आबादी के लिए परिणामों में सुधार करेंगे।

सारांश: भारतीय आबादी के लिए स्वास्थ्य देखभाल को आगे बढ़ाने और परिणामों में सुधार करने में जीनोमिक्स प्रौद्योगिकी की पूरी क्षमता को समझने हेतु जीनोमिक्स के लिए एक कानूनी ढांचा आवश्यक है। नैतिक सिद्धांतों, डेटा संरक्षण और समता को प्राथमिकता देकर, भारत जीनोमिक अनुसंधान में अग्रणी बन सकता है, जिससे भारत के लोगों के लिए एक स्वस्थ भविष्य का मार्ग प्रशस्त हो सकता है।

सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 3 से संबंधित

सरकार ने AI एडवाइजरी क्यों जारी की है?

विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी

विषय: विज्ञान और प्रौद्योगिकी में विकास, रोजमर्रा की जिंदगी में वैज्ञानिक विकास के अनुप्रयोग

प्रारंभिक परीक्षा: AI एडवाइजरी

मुख्य परीक्षा: AI पर सरकारी नियम

संदर्भ: इलेक्ट्रॉनिकी और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (MeitY) ने 1 मार्च को आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) उद्योग के लिए एडवाइजरी (सलाह) जारी की।

  • यह सलाह जेनरेटिव AI उत्पादों को जारी करने और सरकारी नियमों के अनुपालन से संबंधित है।

AI विनियमन पर सरकार का रुख:

  • यह सलाह विशेष रूप से AI मॉडल की प्रतिक्रियाओं और आईटी कानूनों के अनुपालन के संबंध में AI अनुसंधान और नीति के प्रति सरकार के दृष्टिकोण में बदलाव को दर्शाती है।
  • यह सलाह इलेक्ट्रॉनिकी और सूचना प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री राजीव चन्द्रशेखर द्वारा गूगल के जेमिनी चैटबॉट के कुछ प्रश्नों के जवाब के संबंध में उठाई गई चिंताओं के बाद दी गई है।

एडवाइजरी (सलाह) का स्वागत और व्याख्या:

  • उद्योग और पर्यवेक्षक इस बात पर बंटे हुए हैं कि क्या सलाह एक सिफारिश है या एक आदेश है।
  • कानूनी विशेषज्ञों और उद्योग पेशेवरों ने सलाह की वैधता तथा AI विकास में नवाचार और प्रयोग पर इसके संभावित प्रभाव को लेकर चिंता जताई है।

महत्त्व

  • एडवाइजरी AI को विनियमित करने के सरकार के दृष्टिकोण और तकनीकी कंपनियों के लिए इसके निहितार्थ पर सवाल उठाती है।
  • यह कानूनी और नैतिक मानकों के अनुपालन को सुनिश्चित करने हेतु AI को विनियमित करने तथा AI उद्योग में नवाचार और प्रयोग को बढ़ावा देने के बीच दबाव पर प्रकाश डालता है।

स्रोत: The Hindu

भावी कदम:

स्पष्टता और परामर्श:

  • सरकार को AI फर्मों को सलाह के दायरे और प्रयोज्यता पर स्पष्टता प्रदान करनी चाहिए।
  • यह सुनिश्चित करने के लिए कि नियामक उपाय प्रभावी और संतुलित हैं, तकनीकी फर्मों और कानूनी विशेषज्ञों सहित हितधारकों से परामर्श किया जाना चाहिए।

नवाचार को बढ़ावा देना:

  • कानूनी और नैतिक मानकों का अनुपालन सुनिश्चित करते हुए AI उद्योग में नवाचार और प्रयोग को प्रोत्साहित करने के उपाय किए जाने चाहिए।
  • प्रतिस्पर्धी और विविध AI पारिस्थितिकी तंत्र को बढ़ावा देने के लिए स्थानीय AI डेवलपर्स और स्टार्टअप के लिए सहायता को प्राथमिकता दी जानी चाहिए।

सारांश: सरकार द्वारा AI एडवाइजरी जारी करना भारत में AI को विनियमित करने के उसके दृष्टिकोण में बदलाव का संकेत देता है। हालांकि कानूनी दायित्वों का अनुपालन आवश्यक है, वहीं यह सुनिश्चित करने के लिए उपाय किए जाने चाहिए कि नियामक प्रयास AI उद्योग में नवाचार और प्रयोग को बाधित न करें।

प्रीलिम्स तथ्य:

1. कोझिकोड को भारत का पहला सहकारी संग्रहालय मिलेगा

सन्दर्भ: केरल का कोझिकोड भारत में पहला अंतर्राष्ट्रीय सहकारी संग्रहालय (ICM) का घर बनने जा रहा है।

  • करास्सेरी सर्विस को-ऑपरेटिव बैंक द्वारा शुरू किए गए इस संग्रहालय का उद्देश्य भारत के सहकारी आंदोलनों के समृद्ध इतिहास को प्रदर्शित करना है।

सहकारिता का इतिहास और महत्व:

  • सहकारी समितियों ने कृषि, वित्त और उपभोक्ता वस्तुओं सहित भारतीय अर्थव्यवस्था के विभिन्न क्षेत्रों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
  • यह संग्रहालय भारत में, विशेषकर केरल में सहकारी समितियों की सफलता की कहानियों और उपलब्धियों को सामने लाने के प्रति समर्पित है।

निर्माण एवं प्रौद्योगिकी:

  • 14 मंजिला संग्रहालय का निर्माण, जिसकी शुरुआत 2016 में हुई थी, में कोविड-19 महामारी के कारण देरी का सामना करना पड़ा।
  • इंटरैक्टिव डिस्प्ले के लिए कृत्रिम बुद्धिमत्ता और आभासी वास्तविकता जैसी नवीनतम तकनीक को शामिल करने के लिए योजनाओं को अद्यतन किया गया है।

सहयोग और विस्तार:

  • इस परियोजना को राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) और अंतर्राष्ट्रीय सहकारी गठबंधन जैसे संगठनों से सहायता मिला है।
  • यूरोप, जापान और अन्य देशों की सहकारी समितियों से सूचना इकट्ठा करने और डिस्प्ले मटेरियल के लिए प्रयास किए जा रहे हैं।

चित्र: अंतर्राष्ट्रीय सहकारी संग्रहालय भवन

स्रोत: The Hindu

महत्त्व

  • ICM का उद्देश्य सहकारी आंदोलनों में रुचि रखने वाले पर्यटकों, छात्रों और विद्वानों को आकर्षित करते हुए एक शैक्षिक और अनुसंधान केंद्र के रूप में काम करना है।
  • सहकारी समितियों की उपलब्धियों को प्रदर्शित करके, इस संग्रहालय का उद्देश्य भविष्य की पीढ़ियों को प्रेरित करना और एक व्यवहार्य व्यावसायिक रणनीति के रूप में सहकारी मॉडल को बढ़ावा देना है।

2. नौसेना ने ट्विन कैरियर ऑपरेशंस का प्रदर्शन किया

संदर्भ: 2024 का नौसेना कमांडरों का सम्मेलन संपन्न हुआ, जिसका पहला भाग समुद्र में INS विक्रमादित्य पर आयोजित किया गया, जिसमें ट्विन कैरियर ऑपरेशंस का प्रदर्शन किया गया।

  • ऑपरेशन में मिग-29K लड़ाकू विमानों ने INS विक्रमादित्य और INS विक्रांत से एक साथ उड़ान भरी, जिसके बाद क्रॉस-डेक लैंडिंग हुई।

ट्विन कैरियर ऑपरेशंस:

  • एक साथ कई विमानवाहक पोतों (aircraft carriers) के साथ संचालन करने के भारतीय नौसेना के समन्वय और क्षमता का प्रदर्शन किया गया।
  • पहला स्वदेशी विमानवाहक पोत INS विक्रांत, परिचालन गतिविधियों में पूरी तरह से एकीकृत हो गया है, जो एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है।

परिचालन गति:

  • यह सम्मेलन बढ़ती परिचालन गतिविधि के बीच हुआ, जिसमें लाल सागर में हुए घटनाक्रम और अदन की खाड़ी में नए सिरे से समुद्री डकैती के प्रयास शामिल थे।
  • उभरती चुनौतियों का जवाब देने और सामरिक क्षेत्रों में समुद्री सुरक्षा बनाए रखने के लिए नौसेना की तत्परता पर प्रकाश डाला गया।

महत्त्व

परिचालन क्षमता प्रदर्शन:

  • ट्विन-कैरियर ऑपरेशन का सफल निष्पादन समुद्र में जटिल युद्धाभ्यास आयोजित करने में नौसेना की दक्षता को रेखांकित करता है।
  • यह भारत की बढ़ती समुद्री शक्ति और हिंद महासागर क्षेत्र में शक्ति स्थापित करने की क्षमता को प्रदर्शित करता है।

समुद्री सुरक्षा में नेतृत्वकारी भूमिका:

  • रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने हिंद महासागर क्षेत्र में शांति और समृद्धि सुनिश्चित करने में भारतीय नौसेना की नेतृत्वकारी भूमिका पर जोर दिया।
  • यह समुद्री हितों की सुरक्षा और महत्वपूर्ण समुद्री मार्गों में स्थिरता को बढ़ावा देने के प्रति भारत की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

3. रासायनिक अपक्षय से CO₂ में गिरावट की अपनी सीमाएँ हैं

संदर्भ: एक हालिया अध्ययन में चट्टानों के रासायनिक अपक्षय और वायुमंडलीय कार्बन डाइऑक्साइड (CO₂) की कमी के बीच संबंधों पर प्रकाश डाला गया है।

  • रासायनिक अपक्षय वायुमंडल में CO₂ के स्तर को विनियमित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है और परिणामस्वरूप पृथ्वी की जलवायु को प्रभावित करता है।

कार्बन डाइऑक्साइड में कमी:

  • रासायनिक अपक्षय प्रक्रियाएं चट्टानों और खनिजों के साथ प्रतिक्रियाओं के माध्यम से वातावरण से CO₂ को हटाने में योगदान करती हैं।
  • जलवायु मॉडलिंग और भविष्य के जलवायु परिवर्तन के पूर्वानुमान के लिए CO₂ कमी (ड्रॉडाउन) की दक्षता को प्रभावित करने वाले कारकों को समझना आवश्यक है।

क्षरण दर का प्रभाव:

  • अध्ययन से पता चलता है कि CO₂ की गिरावट, मध्यम क्षरण दर पर चरम पर है, जो वायुमंडलीय CO₂ को कम करने में रासायनिक अपक्षय की प्रभावशीलता की एक सीमा का संकेत देता है।
  • इन सीमाओं की पहचान करने से पृथ्वी के कार्बन चक्र में मूल्यवान अंतर्दृष्टि मिलती है और जलवायु मॉडल को परिष्कृत करने में मदद मिलती है।

महत्त्व

कार्बन चक्र में अंतर्दृष्टि:

  • परिणाम पृथ्वी के कार्बन चक्र को नियंत्रित करने वाले तंत्र में नई अंतर्दृष्टि प्रदान करते हैं, जो वायुमंडल में CO₂ के स्तर को विनियमित करने वाली प्रक्रियाओं पर प्रकाश डालते हैं।
  • रासायनिक अपक्षय सीमाओं की बेहतर समझ जलवायु अनुमानों को बढ़ाती है और जलवायु परिवर्तन को कम करने के लिए रणनीतियों की जानकारी प्रदान करती है।

जलवायु मॉडलिंग सटीकता:

  • भविष्य के जलवायु परिदृश्यों का पूर्वानुमान करने और जलवायु शमन रणनीतियों की प्रभावकारिता का आकलन करने के लिए जलवायु मॉडल में रासायनिक अपक्षय प्रक्रियाओं का सटीक प्रतिनिधित्व महत्वपूर्ण है।
  • रासायनिक अपक्षय से CO₂ की कमी की सीमाओं पर हुए अनुसंधानों को शामिल करने से जलवायु मॉडल की सटीकता में सुधार होता है और पूर्वानुमान क्षमताओं में वृद्धि होती है।

4. EFTA के साथ FTA समझौते से भारत को अधिक निवेश मिलेगा

सन्दर्भ: स्विट्जरलैंड, आइसलैंड, नॉर्वे और लिकटेंस्टीन सहित यूरोपीय मुक्त व्यापार संघ (EFTA) देशों के साथ एक मुक्त व्यापार समझौते (FTA) पर भारत हस्ताक्षर करने वाला है।

  • इस समझौते का उद्देश्य व्यापार उदारीकरण को बढ़ाना तथा वैश्विक संरक्षणवादी रुझानों के बीच आर्थिक सहयोग को बढ़ावा देना है।

निवेश फोकस:

  • FTA से भारत के लिए लाभ मुख्य रूप से EFTA ब्लॉक द्वारा 15 वर्षों में 100 अरब डॉलर के निवेश और दस लाख रोजगार सृजन की संभावना पर निर्भर करता है।
  • EFTA के भीतर मौजूदा कम या शून्य टैरिफ के कारण वस्तु निर्यात के मामले में न्यूनतम लाभ की संभावना है।

बाज़ार पहुंच चुनौतियाँ:

  • विशेष रूप से सोने और कीमती धातुओं जैसे क्षेत्रों में बड़े व्यापार घाटे को देखते हुए, भारत को EFTA देशों में वस्तुओं के लिए बाजार पहुंच बढ़ाने की सीमित गुंजाइश का सामना करना पड़ता है।

प्रतिस्पर्धा और विविधीकरण:

  • निवेश के लिए पहचाने गए संयुक्त उद्यम (JV) क्षेत्र भारत के लिए सीधी प्रतिस्पर्धा नहीं प्रस्तुत करते हैं, आयात के विविधीकरण के अवसर प्रदान करते हैं और चीन जैसे देशों के प्रभुत्व वाले विशिष्ट क्षेत्रों पर निर्भरता कम करते हैं।

महत्त्व

  • प्रतिबद्धता का प्रदर्शन: FTA विशेष रूप से वैश्विक स्तर पर बढ़ते संरक्षणवाद के सामने व्यापार उदारीकरण और आर्थिक सहयोग के प्रति भारत की प्रतिबद्धता को रेखांकित करता है।
  • आर्थिक बढ़ावा: EFTA ब्लॉक द्वारा वादा किए गए निवेश और रोजगार सृजन में भारत की अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने और रोजगार के अवसर पैदा करने की क्षमता है, जिससे समग्र वृद्धि और विकास में योगदान मिलेगा।
  • आयात का विविधीकरण: यह समझौता चिकित्सा उपकरणों जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों के लिए विशिष्ट देशों पर निर्भरता को कम करके आयात के विविधीकरण की सुविधा प्रदान करता है, जिससे आपूर्ति श्रृंखलाओं में लचीलापन बढ़ता है।

स्रोत: The Hindu

महत्वपूर्ण तथ्य:

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UPSC प्रारंभिक परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न:

Q1) आयुष्मान भारत योजना के सन्दर्भ में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

  1. आयुष्मान भारत का लक्ष्य 10 करोड़ से अधिक परिवारों को स्वास्थ्य बीमा कवरेज प्रदान करना है।
  2. यह योजना भारत के सार्वजनिक अस्पतालों में माध्यमिक और तृतीयक देखभाल अस्पताल भर्ती के लिए प्रति वर्ष प्रति परिवार ₹5 लाख का स्वास्थ्य बीमा कवर प्रदान करती है।
  3. आयुष्मान भारत, भारत सरकार के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के तहत राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण द्वारा कार्यान्वित किया जाता है।

उपर्युक्त कथनों में से कौन सा/से सही है/हैं?

  1. केवल 1 और 2
  2. केवल 2 और 3
  3. केवल 1 और 3
  4. 1, 2, और 3

उत्तर: (c)

Q2) IN-SPACe की स्थापना के साथ, निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

  1. यह अंतरिक्ष क्षेत्र में निजी संस्थाओं के प्रचार और विनियमन के लिए एक स्वतंत्र नोडल एजेंसी के रूप में कार्य करता है।
  2. इसका एक प्राथमिक उद्देश्य इसरो की सुविधाओं और विशेषज्ञता को निजी क्षेत्र के साथ साझा करने की सुविधा प्रदान करना है।
  3. IN-SPACe वाणिज्यिक प्रक्षेपणों के लिए PSLV और GSLV प्रक्षेपण वाहनों के संचालन के लिए उत्तरदायी है।

उपर्युक्त में से कितने कथन सही हैं?

  1. केवल एक
  2. केवल दो
  3. सभी तीन
  4. इनमे से कोई भी नहीं

उत्तर: (b)

Q3) निम्नलिखित में से कौन से स्रोत प्राकृतिक स्रोत माने जाते हैं जहाँ से मीथेन-आधारित ईंधन निकाला जा सकता है?

  1. प्राकृतिक गैस रिजर्वॉयर
  2. कोल बेड (Coal Beds)
  3. अवायवीय पाचन से बायोगैस
  4. मीथेन हाइड्रेट्स
  5. थर्मल वेंट मेथनोजेनेसिस
  1. केवल 1, 2 और 3
  2. केवल 1, 3 और 4
  3. केवल 1, 2, 3 और 4
  4. 1, 2, 3, 4 और 5

उत्तर: (c)

Q4) ‘समुद्रयान’ मिशन के सन्दर्भ में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए:

  1. ‘समुद्रयान’ मिशन इसरो और डीआरडीओ की एक संयुक्त पहल है।
  2. इसका उद्देश्य समुद्र के सबसे गहरे हिस्से में एक चालक दल वाले समुद्री अन्वेषण वाहन को भेजना है।
  3. यह मिशन पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के तहत भारत के डीप सी अन्वेषण प्रयासों (deep ocean exploration efforts) का हिस्सा है।

उपर्युक्त कथनों में से कौन सा/से सही है/हैं?

  1. केवल 1
  2. केवल 2 और 3
  3. केवल 1 और 2
  4. केवल 3

उत्तर: (b)

Q5) ब्लू कार्बन निम्नलिखित में से क्या है?

(a) महासागरों और तटीय पारिस्थितिक तंत्र द्वारा कैप्चर किया गया कार्बन

(b) वन बायोमास और कृषि मृदा में अनुक्रमित कार्बन

(c) पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस में निहित कार्बन

(d) वायुमंडल में मौजूद कार्बन

उत्तर: (a)

UPSC मुख्य परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न:

Q1) उन उपायों पर चर्चा कीजिए जो भारत सरकार को नैतिक उपयोग सुनिश्चित करते हुए और AI प्रौद्योगिकियों से जुड़े जोखिमों को कम करते हुए नवाचार को बढ़ावा देने के लिए अपनाना चाहिए। (10 अंक, 150 शब्द) (सामान्य अध्ययन – III, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी)​

Discuss the measures that the Indian government should take to foster innovation while ensuring ethical use and mitigating risks associated with AI technologies. (10 marks, 150 words) [GS-3, S&T]

Q2) पिछले दो दशकों में जीनोमिक्स में प्रगति ने स्वास्थ्य देखभाल और अनुसंधान में महत्वपूर्ण अवसर और चुनौतियाँ ला दी हैं। इन क्षेत्रों में जीनोमिक्स के लाभों का उपयोग करने के लिए भारत द्वारा उठाए जाने वाले कदमों का मूल्यांकन कीजिए। (15 अंक, 250 शब्द) (सामान्य अध्ययन – III, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी)​

Advancements in genomics over the last two decades have brought about significant opportunities and challenges in healthcare and research. Evaluate the steps India should take to harness the benefits of genomics in these fields. (15 marks, 250 words) [GS-3, S&T]

(नोट: मुख्य परीक्षा के अंग्रेजी भाषा के प्रश्नों पर क्लिक कर के आप अपने उत्तर BYJU’S की वेव साइट पर अपलोड कर सकते हैं।)