04 मई 2023 : समाचार विश्लेषण
A. सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 1 से संबंधित: आज इससे संबंधित कुछ नहीं है। B. सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 2 से संबंधित: आज इससे संबंधित कुछ नहीं है। C. सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 3 से संबंधित: विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी:
D. सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 4 से संबंधित: आज इससे संबंधित कुछ नहीं है। E. संपादकीय: सुरक्षा:
अंतर्राष्ट्रीय संबंध:
F. प्रीलिम्स तथ्य:
G. महत्वपूर्ण तथ्य:
H. UPSC प्रारंभिक परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न: I. UPSC मुख्य परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न: |
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सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 3 से संबंधित:
यूरोपिय संघ का कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) अधिनियम:
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी:
विषय: आईटी, कंप्यूटर और रोबोटिक्स के क्षेत्र में जागरूकता।
प्रारंभिक परीक्षा: यूरोपिय संघ के कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) अधिनियम से संबंधित जानकारी।
मुख्य परीक्षा: कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) प्रणालियों और टूल्स को विनियमित करना।
प्रसंग:
- यूरोपीय संसद के सदस्य यूरोपीय संघ के कृत्रिम बुद्धिमत्ता अधिनियम के एक नए संस्करण का मसौदा तैयार करने के लिए आम सहमति पर पहुंचे हैं।
कृत्रिम बुद्धिमत्ता को विनियमित करने की आवश्यकता:
- कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) ऐसी प्रौद्योगिकियां हैं जिनका अब बड़े पैमाने पर उपयोग किया जा रहा है, चूंकि उनके एल्गोरिदम अधिक उन्नत होते जा रहे हैं,जैसे अब ये कार चलाने, वॉयस असिस्टेंस, कैंसर का पता लगाने, संगीत की सिफारिश करने आदि जैसे जटिल कार्यों की एक विस्तृत श्रृंखला को करने में सक्षम हैं।
- इस तरह की प्रगति के साथ, संभावित जोखिमों और उनसे जुड़ी अनिश्चितताओं में वृद्धि हुई है।
- इसके अलावा, कई AI टूल्स को “ब्लैक बॉक्स” के रूप में माना जाता है, यहां तक कि जिन लोगों ने टूल डिजाइन किए हैं, वे वास्तव में नहीं बता सकते हैं कि विशिष्ट आउटपुट उत्पन्न करने के लिए टूल के भीतर कौन सी प्रक्रिया होती है।
- ऐसे मामलों में वृद्धि हुई है जिनमें AI-सक्षम फेशियल रिकॉग्निशन टूल जैसे जटिल और अस्पष्ट AI टूल के कारण गलत व्यक्तियों की गिरफ्तारियां हुई हैं।
- अभी हाल ही में जनरेटिव प्रीट्रेन्ड ट्रैसफॉर्मर-3 (GPT-3) और 4 जैसे जटिल बड़े भाषा मॉडल (large language models (LLMs)) का उपयोग करके उत्पन्न होने वाले “डीपफेक” (Deepfakes) पर चिंता व्यक्त की गई है।
- ट्विटर के CEO एलोन मस्क और एप्पल के सह-संस्थापक स्टीव वोज्नियाक सहित संबंधित उद्योग के हितधारकों ने हाल ही में AI प्रयोगशालाओं से समाज और मानवता के लिए संभावित जोखिमों को कम करने के लिए छह महीने के लिए GPT-4 से अधिक शक्तिशाली AI मॉडल के प्रशिक्षण को रोकने का आग्रह किया है।
- अपने पत्र में उद्योग के हितधारकों ने कहा कि “शक्तिशाली AI प्रणाली को केवल तभी विकसित किया जाना चाहिए जब हमें विश्वास हो कि उनका प्रभाव सकारात्मक होगा और उनके जोखिम प्रबंधनीय होंगे।
कृत्रिम बुद्धिमत्ता अधिनियम:
- कृत्रिम बुद्धिमत्ता अधिनियम या AI अधिनियम को पहली बार वर्ष 2021 में तैयार किया गया था।
- इस अधिनियम का उद्देश्य AI के लिए पारदर्शिता, विश्वास और जवाबदेही सुनिश्चित करना और यूरोपीय संघ (EU) की सुरक्षा, स्वास्थ्य, मौलिक अधिकारों और लोकतांत्रिक मूल्यों से जुड़े जोखिमों को कम करने के लिए एक रूपरेखा तैयार करना है।
- इस अधिनियम की परिकल्पना स्वास्थ्य, शिक्षा, वित्त और ऊर्जा जैसे क्षेत्रों में विभिन्न नैतिक मुद्दों और कार्यान्वयन चुनौतियों का समाधान करने के लिए की गई थी।
- AI अधिनियम का उद्देश्य यह भी सुनिश्चित करना है कि यूरोप में AI 27 देशों के ब्लॉक के मूल्यों और नियमों का सम्मान करे।
- AI अधिनियम का मुख्य उद्देश्य AI के उपयोग को बढ़ावा देने और प्रौद्योगिकी के उपयोग से जुड़े जोखिमों को कम करने के बीच संतुलन स्थापित करना है।
- AI कानून का उद्देश्य 2018 के यूरोपीय संघ के जनरल डेटा प्रोटेक्शन रेगुलेशन (GDPR), जिसे वैश्विक डेटा संरक्षण शासन में एक उद्योग अग्रणी के रूप में माना जाता था, के समान यूरोप को AI के क्षेत्र में उत्कृष्टता का वैश्विक केंद्र बनाना है।
मसौदा AI अधिनियम की मुख्य विशेषताएं:
- AI अधिनियम का मसौदा AI को “एक ऐसे सॉफ्टवेयर के रूप में परिभाषित करता है जो एक या अधिक तकनीकों के साथ विकसित किया गया है, जो मानव-परिभाषित उद्देश्यों के दिए गए सेट के लिए आउटपुट जैसे कंटेंट, पूर्व-सूचनाएँ, अनुशंसाएं, या उन वातावरणों को प्रभावित करने वाले निर्णय उत्पन्न कर सकता है जिनके साथ वे परस्पर क्रिया करते हैं”।
- यह मशीन लर्निंग (ML), डीप लर्निंग, ज्ञान, तर्क-आधारित और स्टैटिस्टिकल एप्रोच पर आधारित AI टूल्स की भी पहचान करता है।
- यह अधिनियम उन तकनीकों के उपयोग पर प्रतिबंध लगाता है जो थोड़े अपवाद के साथ अस्वीकार्य जोखिम की श्रेणी में आती हैं।
- इस तरह की तकनीकों में सार्वजनिक स्थानों में वास्तविक समय की चेहरा पहचान और बायोमेट्रिक प्रणाली, सरकारों द्वारा नागरिकों की सोशल स्कोरिंग की प्रणालियाँ जिसके परिणामस्वरूप “अनुचित और हानिकारक व्यवहार” किया जाता है, किसी व्यक्ति के व्यवहार को विकृत करने वाली तकनीकें और ऐसी प्रौद्योगिकियां जिनमें समाज के कमजोर वर्गों का शोषण करने की क्षमता होती है, का उपयोग शामिल है।
- AI प्रणालियाँ जो सीमित और न्यूनतम जोखिम श्रेणी के अंतर्गत आती हैं, उन्हें पारदर्शिता दायित्वों जैसी बहुत कम आवश्यकताओं के साथ उपयोग करने की अनुमति होती है।
- अधिनियम का मसौदा संस्करण डेवलपर्स और सिस्टम के उपयोगकर्ताओं के लिए विभिन्न प्री-एंड पोस्ट-मार्केट आवश्यकताओं को भी निर्धारित करता है जैसे कि बायोमेट्रिक पहचान और वर्गीकरण उपकरण; स्वास्थ्य सेवा, शिक्षा, कानून प्रवर्तन प्रणालियों में उपयोग किए जाने वाले AL टूल; और ऐसे टूल जो महत्वपूर्ण निजी और सार्वजनिक सेवाओं तक पहुंच प्रदान करते हैं।
- चूंकि AI एल्गोरिदम समय के साथ विकसित होते हैं, इसलिए पोस्ट-मार्केट निगरानी दायित्व भी एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
- अधिनियम एक ऐसा ढांचा बनाने की परिकल्पना करता है जो विभिन्न मापदंडों को निर्धारित करता है और उच्च जोखिम वाले AI सिस्टम की सख्त समीक्षा करता है जिसे “अनुरूपता आकलन” (conformity assessments) कहा जाता है।
मसौदा AI अधिनियम के हाल के प्रस्ताव:
- AI अधिनियम जिसे दो साल पहले तैयार किया गया था, उसमें केवल “चैटबॉट” शब्द का एक उल्लेख शामिल था। हालांकि, सामान्य-उद्देश्य AI टूल और चैटबॉट्स जैसे कि चैटजीपीटी (ChatGPT) के उपयोग में प्रगति ने जनरेटिव AI टूल में रुचि में महत्वपूर्ण वृद्धि के साथ नियमों को अपडेट करने की आवश्यकता को अनिवार्य कर दिया है।
- कानून निर्माताओं ने भी जनरेटिव AI टूल जैसे कि चैटजीपीटी (CHATGPT) या माइंडजर्नी (MIDJOURNEY) इमेज जेनरेटर का उपयोग करके कंपनियों द्वारा कॉपीराइट सामग्री के उपयोग की ओर अपना ध्यान केंद्रित किया है, क्योंकि ऐसे उपकरण इंटरनेट पर उपलब्ध डेटा का उपयोग करके खुद को प्रशिक्षित करने की क्षमता रखते हैं।
- ऐसे उपकरणों का उपयोग करने वाली कंपनियों को अपने सिस्टम को विकसित करने के लिए उपयोग की जाने वाली कॉपीराइट सामग्री का खुलासा करना अनिवार्य होगा।
- इसके अलावा इस बात पर चर्चा चल रही है कि क्या सामान्य-उद्देश्य वाले कृत्रिम बुद्धिमत्ता सिस्टम (GPAIS) के सभी रूपों को उच्च-जोखिम के रूप में वर्गीकृत किया जाना चाहिए।
दुनिया भर में AI विनियम:
- यू.एस. – वर्तमान में यू.एस. के पास समूर्ण/समग्र AI विनियमन नहीं है।
- हालांकि सरकार ने AI बिल ऑफ राइट्स (AIBoR) के लिए एक खाका अधिसूचित किया है जिसे व्हाइट हाउस ऑफिस ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी पॉलिसी (OSTP) द्वारा तैयार किया गया है।
- AIBoR आर्थिक और नागरिक अधिकारों के AI उपकरणों से जुड़े जोखिमों पर प्रकाश डालता है और ऐसे जोखिमों को कम करने के लिए पांच सिद्धांतों का उल्लेख करता है।
- AIBoR ब्लूप्रिंट AI गवर्नेंस के लिए यूुरोपिय संघ की तरह एक क्षैतिज दृष्टिकोण के बजाय एक क्षेत्र-विशिष्ट दृष्टिकोण को लागू करता है।
- AIBoR एक पुस्तिका के समान है और यह बाध्यकारी कानून नहीं है।
- चीन – चीन दुनिया के पहले राष्ट्रीय स्तर पर बाध्यकारी नियमों को लेकर आया है जो विशिष्ट प्रकार के एल्गोरिदम और AI पर ध्यान केंद्रित करते हैं।
- चीन ने अनुशंसा एल्गोरिदम को विनियमित करने के लिए एक कानून पारित किया है जिसमें इस बात पर ध्यान दिया गया है कि वे सूचना का प्रसार किस प्रकार करते हैं।
- चीन ने एक कानून भी बनाया है जो “डीपफेक” बनाने में प्रयोग की जाने वाली प्रौद्योगिकी की तरह डीप सिंथेसिस प्रौद्योगिकी को लक्षित करता है।
- पारदर्शिता सुनिश्चित करने और यह विश्लेषण करने के लिए कि एल्गोरिदम कैसे काम करता है, चीन के AI विनियमन प्राधिकरण ने एल्गोरिदम का एक डेटाबेस भी विकसित किया है जहां डेवलपर्स को अपने एल्गोरिदम को पंजीकृत करना होगा और जानकारी प्रदान करनी होगी।
- भारत – भारत ने व्यक्तिगत डेटा संरक्षण विधेयक (Personal Data Protection Bill) के विकास सहित यह सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाए हैं कि AI प्रौद्योगिकियों को एक जिम्मेदार और नैतिक तरीके से विकसित और उपयोग किया जाए।
- नीति आयोग देश को “AI गैराज” के रूप में स्थापित करने के उद्देश्य से 2018 में कृत्रिम बुद्धिमत्ता पर राष्ट्रीय रणनीति (NSAI) लेकर आया था।
- केन्द्रीय आईटी और दूरसंचार मंत्री ने हाल ही में कहा है कि सरकार देश में कृत्रिम बुद्धिमत्ता पर कोई कानून लाने या इसके विकास को विनियमित पर विचार नहीं कर रही है।
- कृत्रिम बुद्धिमत्ता का नियमन: RSTV – बिग पिक्चर से संबंधित अधिक जानकारी के लिए निम्न लिंक पर क्लिक कीजिए:Regulating Artificial Intelligence : RSTV – Big Picture
सारांश:
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संपादकीय-द हिन्दू
संपादकीय:
ऑपरेशन कावेरी: विशेष अभियानों की दुनिया:
सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 3 से संबंधित:
सुरक्षा:
विषय: विभिन्न सुरक्षा बल और संस्थाएँ तथा उनके अधिदेश।
मुख्य परीक्षा: विशेष अभियानों में भारतीय वायु सेना की भूमिका।
प्रसंग:
- सूडान में फंसे नागरिकों को बचाने के लिए भारतीय वायु सेना ने ‘ऑपरेशन कावेरी’ तेज कर दिया है।
भूमिका:
- सूडान के विभिन्न हिस्सों जैसे राष्ट्रीय राजधानी, खार्तूम और दारफुर जैसे अन्य प्रांतों में करीब 3,000 भारतीय फंसे हुए हैं।
- सूडान से ऐसे फंसे भारतीय नागरिकों को वापस लाने के लिए ऑपरेशन कावेरी (Operation Kaveri) शुरू किया गया है।
- भारत ने जेद्दाह (सऊदी अरब) में दो C-130J हैवी-लिफ्ट विमान तैनात किए हैं और ऑपरेशन के लिए आईएनएस सुमेधा को पोर्ट सईद (मिस्र) भेजा है।
भारतीय वायु सेना की भूमिका:
- सूडान में संघर्ष से प्रभावित लगभग 1,400 भारतीय नागरिकों को ‘ऑपरेशन कावेरी’ के तहत भारतीय वायु सेना (IAF) द्वारा पूरी तरह से सुरक्षित निकाला गया है।
- IAF के अनुसार, दो C-130 J विमानों का उपयोग 260 व्यक्तियों को ले जाने के लिए किया गया था, जिनमें बुजुर्ग व्यक्ति भी शामिल थे, जिनकी उम्र 90 वर्ष से अधिक थी, जिनमें से एक यात्री की उम्र 102 वर्ष से अधिक थी।
- एक साहसी ऑपरेशन में, भारतीय वायु सेना के एक C-130J हैवी-लिफ्ट विमान ने वादी सैय्यिदना में एक छोटी हवाई पट्टी से 121 लोगों को बचाया, जो हिंसा प्रभावित सूडान की राजधानी खार्तूम से लगभग 40 किमी उत्तर में है।
- संबंधित हवाई पट्टी की सतह टूटी-फूटी हुई थी, जहाँ न कोई नेविगेशन सहायता थी और ना ही ईंधन, और इसकी सबसे गंभीर बात यह थी कि यहाँ कोई लैंडिंग लाइट भी नहीं थी जो रात में एक विमान लैंडिंग को निर्देशित करने के लिए आवश्यक होती है।
विशेष अभियानों का सार:
- हाल के वर्षों में भारत की विशेष अभियान क्षमताओं का विकास देश की सेना के लिए प्राथमिकता रही है।
- इस प्रयास के प्रमुख घटकों में से एक C-130J सुपर हरक्यूलिस विमान का अधिग्रहण और तैनाती रहा है, जिसने विशेष अभियान चलाने की भारत की क्षमता में काफी वृद्धि की है।
- IAF के C-130J विशेष ऑप्स स्क्वाड्रन खुद को ‘वील्ड वाइपर’ और ‘रेडिंग रैप्टर’ कहते हैं।
- C-130J एक बहुमुखी विमान है जो कई तरह के मिशनों को अंजाम देने में सक्षम है, जिसमें एयरलिफ्ट, हवा से हवा में ईंधन भरना और विशेष अभियान शामिल हैं।
- यह विशेष संचालन मिशनों के लिए विशेष रूप से अनुकूल है क्योंकि इसके पास छोटी और अपरिष्कृत हवाई पट्टियों से संचालित करने की क्षमता है, साथ ही इसमें उन्नत एवियोनिक्स और संचार प्रणाली भी है।
- C-130J प्राप्त करने के अलावा, भारत ने विशेष अभियान मिशनों में विमान को संचालित करने के लिए वायुयान कर्मियों के प्रशिक्षण पर भी ध्यान केंद्रित किया है। इसमें निचली उड़ान, कर्मियों और उपकरणों की हवाई डिलीवरी, तथा शत्रुतापूर्ण वातावरण में संचालन के लिए रणनीति और प्रक्रियाओं जैसे क्षेत्रों में विशेष प्रशिक्षण शामिल है।
- जैसा कि भारत अपनी सीमाओं के भीतर और क्षेत्र में सुरक्षा चुनौतियों का सामना कर रहा है, ये क्षमताएं देश की सुरक्षा सुनिश्चित करने और अपने हितों की रक्षा करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगी।
- विशेष अभियानों के लिए एक गैर-सैन्य अमूर्त तत्व की आवश्यकता होती है, जिसका अर्थ है कि युवा अधिकारियों और कॉर्पोरल को अपने निर्धारित कार्यों से अधिक कार्य पूरे करने चाहिए। इसलिए, यह महत्वपूर्ण है कि नियमित कार्यों और VIP काफिले के लिए बहुमुखी C-130 का उपयोग करके भारतीय वायुसेना के विशेष संचालन दल के स्वभाव और प्रशिक्षण का क्षरण न किया जाए।
सारांश:
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लॉन्ड्रोमैट देश: रूसी तेल भारत और चीन के रास्ते यूरोप पहुंच रहा है:
सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 2 से संबंधित:
अंतर्राष्ट्रीय संबंध:
विषय: भारत के हितों पर विकसित और विकासशील देशों की नीतियों और राजनीति का प्रभाव।
मुख्य परीक्षा: रूस के तेल पर मूल्य सीमा और वैश्विक तेल आपूर्ति श्रृंखला पर इसका प्रभाव।
प्रसंग:
- यूरोप में रूसी तेल पर “सेंटर फॉर रिसर्च ऑन एनर्जी एंड क्लीन एयर” द्वारा डेटा संचालित अध्ययन।
भूमिका:
- रूसी कच्चे तेल और पेट्रोलियम उत्पादों पर आयात प्रतिबंधों के बावजूद, एक रास्ता (loophole) मौजूद है जो देशों को अप्रत्यक्ष रूप से भारत और चीन के रास्ते रूस से तेल प्राप्त करने की अनुमति देता है।
- यूरोपीय संघ ने रूसी कच्चे तेल के समुद्री आयात पर प्रतिबंध लगा दिया है या उसे सीमित कर दिया है और 5 दिसंबर, 2022 तक व्यापक मूल्य सीमा गठबंधन के हिस्से के रूप में $60 मूल्य सीमा आरोपित की है।
- फिनलैंड स्थित सेंटर फॉर रिसर्च ऑन एनर्जी एंड क्लीन एयर (CREA) की एक रिपोर्ट में यह बात सामने आई है कि रूसी तेल आयात पर प्रतिबंध लगाने वाले यूरोपीय देश भारत, चीन, संयुक्त अरब अमीरात, सिंगापुर और तुर्की से बड़ी मात्रा में तेल वस्तुओं का आयात कर रहे हैं, इसलिए ये देश लॉन्ड्रोमैट देशों के रूप में अर्हता प्राप्त कर रहे हैं।
- रिपोर्ट के अनुसार, भारत, चीन, तुर्की, संयुक्त अरब अमीरात और सिंगापुर को “लॉन्ड्रोमैट देशों” के रूप में वर्गीकृत किया गया है।
- ये देश रूस से खरीदे गए कच्चे तेल को परिष्कृत कर रहे हैं और इसे मूल्य सीमा गठबंधन देशों को निर्यात कर रहे हैं, भारत और चीन कच्चे तेल पर मूल्य सीमा लागू होने के बाद से मूल्य सीमा गठबंधन देशों के तेल उत्पादों के सबसे बड़े निर्यातक बन गए हैं।
- “लॉन्ड्रोमैट” देशों ने अधिक रूसी कच्चे तेल का आयात किया, और इन पांच देशों के लिए रूसी कच्चे तेल के आयात की मात्रा में आक्रमण से पहले वर्ष की तुलना में 140% की वृद्धि (या मूल्य के संदर्भ में €48.2 बिलियन की वृद्धि) देखी गई।
- नतीजतन, यूरोपीय देश अनिवार्य रूप से रूस से सीधे खरीदे जाने वाले तेल उत्पादों को उन्हीं उत्पादों से प्रतिस्थापित कर रहे हैं जिन्हें अब तीसरे देशों में “लॉन्डर्ड” किया जा रहा है। परिणामस्वरूप वे इन उत्पादों के लिए अधिक कीमत चुका रहे हैं।
लॉन्ड्रोमैट देशों के बारे में अधिक जानें: Laundromat countries
रूसी तेल मूल्य सीमा के बारे में और पढ़ें: Russian Oil Price Cap
सारांश:
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प्रीलिम्स तथ्य:
1. विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक 2023:
सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 2 से संबंधित:
शासन:
विषय: शासन के महत्वपूर्ण पहलू।
प्रारंभिक परीक्षा: विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक से सम्बंधित तथ्यात्मक जानकारी।
प्रसंग:
- विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक का 2023 संस्करण 3 मई 2023 को प्रकाशित किया गया है।
विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक:
- विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक को वैश्विक मीडिया प्रहरी “रिपोर्टर्स विदाउट बॉर्डर्स” (RSF) द्वारा प्रकाशित किया जाता है।
- यह रिपोर्ट वर्ष 2002 के बाद से हर साल प्रकाशित की जा रही है।
- इस सूचकांक का मुख्य उद्देश्य दुनिया भर के देशों और क्षेत्रों में पत्रकारों और मीडिया द्वारा प्राप्त स्वतंत्रता के स्तर की तुलना करना है।
- इस सूचकांक के अनुसार, “प्रेस की स्वतंत्रता को राजनीतिक, आर्थिक, कानूनी और सामाजिक हस्तक्षेप से स्वतंत्र तथा पत्रकारों की शारीरिक और मानसिक सुरक्षा के लिए खतरों के अभाव में जनहित में समाचारों का चयन, उत्पादन और प्रसार करने की व्यक्तियों और सामूहिक रूप से पत्रकारों की क्षमता के रूप में परिभाषित किया गया है”।
- सूचकांक किसी देश या क्षेत्र को स्कोर प्रदान करने के लिए राजनीतिक संदर्भ, कानूनी ढांचा, आर्थिक संदर्भ, सामाजिक-सांस्कृतिक संदर्भ और सुरक्षा नाम के पांच संकेतकों का उपयोग करता है।
- 0 से 100 तक का स्कोर प्रत्येक देश या क्षेत्र को प्रदान किया गया है, जिसमें 100 सबसे अच्छा संभव स्कोर है और 0 सबसे खराब है।
चित्र स्रोत: rsf.org
विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक 2023 की मुख्य विशेषताएं:
- विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक 2023 जो 180 देशों और क्षेत्रों में पत्रकारिता के लिए माहौल का मूल्यांकन करता है, विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस (World Press Freedom Day) पर प्रकाशित किया गया था।
- नवीनतम सूचकांक के अनुसार, 31 देशों में स्थिति “बहुत गंभीर”, 42 देशों में “कठिन”, 55 देशों में “समस्याग्रस्त” और 52 देशों में “अच्छी” या “संतोषजनक” है।
- विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक 2023 में भारत की रैंकिंग 180 देशों में से 161वें स्थान पर आ गई है।
- विश्व प्रेस स्वतंत्रता सूचकांक 2022 में भारत 180 देशों में से 150वें स्थान पर था।
- नॉर्वे को लगातार सातवें वर्ष पहला स्थान दिया गया है जिसके बाद आयरलैंड (दूसरा) और डेनमार्क (तीसरा) है।
- अंतिम तीन स्थानों पर वियतनाम (178वें), चीन (179वें) और उत्तर कोरिया (180वें) आते हैं।
- श्रीलंका और पाकिस्तान जैसे भारतीय पड़ोसियों को भारत की तुलना में बेहतर रैंक दी गई है।
- पाकिस्तान को 150वें स्थान पर रखा गया था जिसकी रैंकिंग में 2022 में 157वें स्थान की तुलना में सुधार हुआ है।
- श्रीलंका को 2022 में 146वें के मुकाबले 135वें स्थान पर रखा गया है।
2. एकता हार्बर:
सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र 2 से संबंधित:
अंतर्राष्ट्रीय संबंध:
विषय: भारत एवं इसके पड़ोसी- संबंध।
प्रारंभिक परीक्षा: एकता हार्बर से सम्बंधित तथ्यात्मक जानकारी।
प्रसंग
- भारतीय रक्षा मंत्री और मालदीव के उनके समकक्ष ने “एकता हार्बर” की नींव रखी।
एकता हार्बर के बारे में:
- मालदीव में मालदीव राष्ट्रीय रक्षा बल तट रक्षक के लिए एकता हार्बर का निर्माण किया जा रहा है।
- हार्बर का निर्माण उथुरु थिला फल्हू (UTF) एटोल में सिफावरु में किया जा रहा है।
- भारत नौसैनिक डॉकयार्ड के निर्माण में सहायता कर रहा है और इसे भारत की सबसे बड़ी अनुदान सहायता परियोजनाओं में से एक माना जाता है।
- भारतीय रक्षा मंत्री ने मालदीव राष्ट्रीय रक्षा बल तट रक्षक को भारत के “सुरक्षा और क्षेत्र में सभी के विकास (Security and Growth for All in the Region (SAGAR))” के दृष्टिकोण के अनुरूप एक अतिरिक्त लैंडिंग क्राफ्ट भी प्रदान किया।
- मालदीव को हिंद महासागर क्षेत्र (IOR) में भारत के महत्वपूर्ण समुद्री पड़ोसियों में से एक कहा जाता है और भारत सरकार इस क्षेत्र में अपने प्रभाव का विस्तार करने के चीन के प्रयासों के बीच रक्षा और सुरक्षा के क्षेत्रों में माले के साथ संबंधों का विस्तार करना चाह रही है।
- मंत्रियों ने रक्षा व्यापार, क्षमता निर्माण और संयुक्त अभ्यास के क्षेत्रों सहित सहयोग के लिए अतिरिक्त रास्ते तलाशने पर भी सहमति व्यक्त की है।
महत्वपूर्ण तथ्य:
- उज्बेकिस्तान में संविधान के पुनर्लेखन हेतु जनमत संग्रह:
- हाल ही में उज्बेकिस्तान के राष्ट्रपति शवकत मिर्ज़ियोयेव (Shavkat Mirziyoyev) ने संविधान को पुनः लिखने के लिए आयोजित एक जनमत संग्रह में मतदाता अनुमोदन (90%) प्राप्त कर लिया है।
- उज़्बेकिस्तान के राष्ट्रपति के अनुसार, संविधान के पुनर्लेखन से इस पूर्व सोवियत गणराज्य में शासन और जीवन की गुणवत्ता में सुधार करने में मदद मिलेगी।
- हालाँकि यह उसे अपने वर्तमान कार्यकाल से परे अपने शासन का विस्तार करने की अनुमति भी दे सकता है।
- शौकत मिर्ज़ियोयेव जो तानाशाह इस्लाम करीमोव के शासन के दौरान पूर्व प्रधानमंत्री थे, ने 2016 में राष्ट्रपति बनने के बाद धीरे-धीरे विभिन्न सामाजिक और आर्थिक सुधार किए हैं।
- शवकत मिर्ज़ियोयेव ने कपास के खेतों में काम करने वाले बंधुआ श्रमिकों को मुक्त कर दिया, राजनीतिक कैदियों को रिहा किया तथा मीडिया सेंसरशिप में ढील दी, महिलाओं के अधिकारों को बढ़ावा दिया और उद्यमशीलता को प्रोत्साहित किया।
- इन प्रयासों ने विदेशी निवेश को आकर्षित किया है और उज्बेकिस्तान जो कभी एक बंद अर्थव्यवस्था थी अब सबसे तेजी से बढ़ने वाला मध्य एशियाई देश बन रहा है।
- नए चार्टर ने उज्बेकिस्तान को “संप्रभु, लोकतांत्रिक, कानूनी, सामाजिक और धर्मनिरपेक्ष” राष्ट्र के रूप में वर्णित किया है और यहाँ एक नई मीडिया संहिता और घरेलू दुर्व्यवहार को अपराध घोषित करने का भी वादा किया गया है।
- इसमें मृत्युदंड पर प्रतिबंध लगाने, कैदी अधिकारों की गारंटी देने और बेहतर सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने जैसे आश्वासन भी शामिल हैं।
- गो फर्स्ट 11,463 करोड़ रूपए के बकाया के साथ NCLT पहुँचा:
- गो फर्स्ट एयरलाइंस ने राष्ट्रीय कंपनी विधि अधिकरण (National Company Law Tribunal (NCLT)) के समक्ष स्वैच्छिक दिवाला कार्यवाही के लिए वाद दायर किया।
- NCLT दिवालिया और दिवालियापन संहिता, 2016 (Insolvency and Bankruptcy Code (IBC), 2016) के तहत दिवालिया समाधान के लिए सहायक प्राधिकरण है।
- गो फर्स्ट IBC के तहत NCLT से संपर्क करने वाली जेट एयरवेज (Jet Airways) के बाद पहली भारतीय यात्री विमान कम्पनी है।
- अपनी दिवालिया प्रस्ताव में, एयरलाइंस कंपनी ने उल्लेख किया कि सभी लेनदारों के लिए इसकी कुल देनदारियां ₹11,463 करोड़ रुपये थीं जिसमें बैंक, वित्तीय संस्थान, विक्रेता और विमान पट्टेदार के बकाया शामिल हैं।
- इसके अलावा कंपनी ने अपनी ख़राब वित्तीय स्थिति के लिए इंजन निर्माता कंपनी प्रैट एंड व्हिटनी (P&W) को जिम्मेदार ठहराया है।
- अत्यधिक रोगजनक बर्ड फ्लू वायरस के कारण केंद्र अलर्ट पर:
- चूँकि, भारत दुनिया भर में सबसे बड़े पशुधन भंडार में से एक है, इसलिए यह दुनिया भर में एवियन इन्फ्लूएंजा (H5N1) के चल रहे प्रकोपों के प्रति “जोखिमग्रस्त और सुभेद्य” है, जिसमें स्तनधारी संचरण के खतरे के कारण वृद्धि हुई है।
- विश्व आर्थिक मंच (WEF) ने अपने नवीनतम अध्ययन में बताया है कि जंगली पक्षियों और अन्य प्रजातियों के बीच वायरस पाया जा रहा है, जो उत्परिवर्तन का खतरा पैदा करता है और जिसके कारण वायरस अधिक हानिकारक हो जाता है।
- H5N1 एवियन इन्फ्लूएंजा का एक अत्यधिक रोगजनक उपप्रकार है और इसका पता ICAR के राष्ट्रीय उच्च सुरक्षा पशु रोग संस्थान, भोपाल ने झारखंड के बोकारो में सरकारी पोल्ट्री फार्म से आए नमूनों से लगाया।
- इसके अलावा, उच्च-रोगजनक एवियन इन्फ्लूएंजा के लिए कोई टीका उपलब्ध नहीं है।
- भारत ने अब एक पशु महामारी तैयारी कार्यक्रम (animal pandemic preparedness programme) शुरू किया है।
- इस विषय पर अधिक जानकारी के लिए 30 अप्रैल 2023 का यूपीएससी परीक्षा विस्तृत समाचार विश्लेषण का आलेख देखें।
UPSC प्रारंभिक परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न:
प्रश्न 1. A और B दो किसान हैं। A के पास 2 हेक्टेयर से कम भूमि है जबकि B के पास 5 हेक्टेयर भूमि है। उनके पड़ोसी C के पास जमीन नहीं है, लेकिन उसके पास भैंसों का एक झुंड है, जिसका दूध वह आजीविका कमाने के लिए बेचता है। A, B और C एक तटीय जिले में रहते हैं और D से अपनी दैनिक मछली की ज़रूरतें पूरी करते हैं जो एक मछुआरा है।
उपर्युक्त में से कौन-सा/से किसान क्रेडिट कार्ड के लिए पात्र होगा/होंगे? (स्तर – कठिन)
- केवल C
- केवल A और C
- केवल B
- A, B, C और D
उत्तर: d
व्याख्या:
- किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) योजना 1998 में राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) द्वारा तैयार की गई एक मॉडल योजना के आधार पर शुरू की गई थी।
- यह योजना किसानों को वित्तीय सहायता देकर कृषि क्षेत्र की विभिन्न ऋण आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए शुरू की गई थी।
- किसान क्रेडिट कार्ड योजना के लिए पात्रता मानदंड इस प्रकार है:
- व्यक्तिगत किसान जो मालिक/कृषक हैं
- बटाईदार, पट्टेदार किसान
- बटाईदारों, किसानों, काश्तकारों आदि के स्वयं सहायता समूह
- फसलों के उत्पादन या पशुपालन जैसी गतिविधियों में शामिल किसान
- मत्स्य पालक किसान, मछुआरे, SHGs, JLGs और महिला समूह
- ऐसे मछुआरे जिनके पास एक पंजीकृत नाव या किसी अन्य प्रकार का मछली पकड़ने वाला जहाज है और जिनके पास ज्वारनदमुख या समुद्र में मछली पकड़ने के लिए आवश्यक लाइसेंस या अनुमति है।
- मुर्गीपालन करने वाले और यहां तक कि भेड़, खरगोश बकरी सूअर आदि पालने वाले भी।
- डेयरी: किसान, डेयरी किसान, SHGs, JLGs, और पट्टेदार किसान जो शेड के मालिक हैं, शेड को पट्टे पर लेते हैं या किराए पर लेते हैं।
प्रश्न 2. POSH अधिनियम, 2013 के संबंध में निम्नलिखित में से कौन-से कथन सत्य हैं? (स्तर – मध्यम)
- सर्वोच्च न्यायालय द्वारा दिए गए विशाखा दिशानिर्देश इस कानून के प्रणेता/अग्रदूत थे।
- प्रत्येक नियोक्ता को एक आंतरिक शिकायत समिति स्थापित करनी चाहिए।
- ICC में कम से कम एक महिला सदस्य होनी चाहिए।
- असंगठित क्षेत्रों के लिए, राज्य को जिला अधिकारियों को स्थानीय शिकायत समिति स्थापित करने का निर्देश देना चाहिए।
विकल्प:
- 1, 2, 3 और 4
- 1, 2 और 4
- 3 और 4
- 1 और 3
उत्तर: b
व्याख्या:
- कथन 1 सही है: सर्वोच्च न्यायालय ने 1997 के विशाखा और अन्य बनाम राजस्थान राज्य मामले में एक ऐतिहासिक फैसले में ‘विशाखा दिशानिर्देश’ जारी किए थे।
- ये दिशानिर्देश कार्यस्थल पर महिलाओं के यौन उत्पीड़न (रोकथाम, निषेध और निवारण) अधिनियम, 2013 (POSH अधिनियम) के लिए आधार बने।
- कथन 2 सही है: POSH अधिनियम, 2013 की धारा 4 के अनुसार, प्रत्येक संगठन के नियोक्ता को एक आंतरिक शिकायत समिति (ICC) स्थापित करने की आवश्यकता होती है।
- कथन 3 गलत है: आंतरिक शिकायत समिति में निम्नलिखित सदस्य होने चाहिए:
- पीठासीन अधिकारी:एक : कार्यस्थल पर वरिष्ठ स्तर पर कार्यरत महिला कर्मचारियों में से।
- सदस्य:कम से कम दो : ऐसे कर्मचारियों में से जो महिलाओं के हितों के लिए अधिमानतः प्रतिबद्ध हों या जिन्हें सामाजिक कार्य का अनुभव या कानूनी ज्ञान हो।
- सदस्य:एक: महिलाओं के लिए प्रतिबद्ध गैर सरकारी संगठनों या संघों में से या यौन उत्पीड़न से संबंधित मुद्दों से परिचित व्यक्ति।
- अधिनियम में प्रावधान है कि नामांकित कुल सदस्यों में से कम से कम आधे सदस्य महिलाएं होंगी।
- कथन 4 सही है: POSH अधिनियम असंगठित क्षेत्र में शिकायतों के निवारण के लिए एक विशेष तंत्र का प्रावधान करता है।
- अधिनियम की धारा 7 राज्य सरकार द्वारा एक स्थानीय शिकायत समिति की स्थापना करने का आदेश देती है।
प्रश्न 3. अवैध खनन तथा खनिकों और स्वदेशी लोगों के बीच संघर्ष के लिए चर्चा में रहा यानोमामी क्षेत्र किस देश में स्थित है? (स्तर – कठिन)
- ब्राज़ील
- इंडोनेशिया
- वियतनाम
- फिलिपींस
उत्तर: a
व्याख्या:
- यानोमामी क्षेत्र ब्राजील का सबसे बड़ा स्थानीय क्षेत्र है।
- यह देश के उत्तरी भाग में वेनेजुएला की सीमा पर स्थित है।
- इस इलाके में 20 हजार के करीब आदिवासी लोग रहते हैं।
- अवैध खनन, नदियों के प्रदूषण और बड़े पैमाने पर वनों की कटाई ने क्षेत्र में स्थानीय आबादी के अस्तित्व को खतरे में डाल दिया है।
प्रश्न 4. निम्नलिखित में से कितने निकाय विश्व बैंक समूह का हिस्सा है/हैं? (स्तर – सरल)
- एशियाई विकास बैंक
- एशियाई अवसंरचना निवेश बैंक
- पुनर्निर्माण और विकास के लिए अंतर्राष्ट्रीय बैंक
- बहुपक्षीय गारंटी एजेंसी
- निवेश विवादों के निपटारे के लिए अंतर्राष्ट्रीय केंद्र
विकल्प:
- केवल दो निकाय
- केवल तीन निकाय
- केवल चार निकाय
- सभी चारों निकाय
उत्तर: b
व्याख्या:
चित्र स्रोत: www.worldbank.org
प्रश्न 5. उत्तरी गोलार्ध की तुलना में दक्षिण गोलार्ध में पश्चिमी पवन अधिक सशक्त तथा स्थाई होती है, क्यों? PYQ 2011 (स्तर – सरल)
- उत्तरी-गोलार्ध की तुलना में दक्षिण गोलार्ध में भू-खंड कम है।
- उत्तरी गोलार्ध की तुलना में दक्षिण गोलार्ध में कोरिऑलिस बल अधिक होता है।
उपर्युक्त में से कौन-सा/कौन-से कथन सही है/हैं?
- केवल 1
- केवल 2
- 1 और 2 दोनों
- न तो 1 और न ही 2
उत्तर: a
व्याख्या:
- कथन 1 सही है: कम भू-भाग के कारण, हवाएँ उत्तरी गोलार्ध की तुलना में दक्षिणी गोलार्ध में कम घर्षण बल का अनुभव करती हैं।
- कथन 2 गलत है: कोरिऑलिस प्रभाव पृथ्वी की सतह के सापेक्ष एक आभासी बल है, जो पृथ्वी के घूर्णन के कारण उत्तरी गोलार्ध में दाईं ओर और दक्षिणी गोलार्ध में बाईं ओर गतिमान वस्तुओं के विक्षेपण का कारण बनता है।
- कोरिऑलिस बल का परिमाण और तीव्रता दोनों गोलार्धों में समान है।
UPSC मुख्य परीक्षा के लिए अभ्यास प्रश्न:
प्रश्न 1. भारत को लॉन्ड्रोमैट देश के रूप में क्यों वर्गीकृत किया गया है? व्याख्या कीजिए।
(15 अंक, 250 शब्द) [जीएस-2, अंतर्राष्ट्रीय संबंध]
प्रश्न 2. कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) को विनियमित करने की आवश्यकता का मूल्यांकन कीजिए और AI विनियमन में वैश्विक रुझानों का विश्लेषण कीजिए। (15 अंक, 250 शब्द) [जीएस-3, विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी]