आशय स्पष्ट करें-
आकाश से टूटकर यदि कोई भावुक तारा पृथ्वी पर जाना भी चाहता तो उसकी ज्योति और शक्ति रास्ते में ही शेष हो जाती थी। अन्य तारे उसकी भावुकता अथवा असफलता पर खिलखिलाकर हँस पड़ते थे।
Open in App
Solution
लुट्टन के गाँव में महामारी फैल गई थी। इस कारण उनके गाँव में रात भी बहुत भयानक प्रतीत होती थी। ऐसे समय में लेखक ने रात के दृश्य का वर्णन किया है। लेखक कहता है कि रात में आकाश में तारों का टूटना स्पष्ट दिखाई देता है। यदि आकाश से कोई तारा टूटकर गिरता है, तो अँधेरे के साम्राज्य में उसका प्रकाश तथा शक्ति समाप्त हो जाती थी। ऐसा जान पड़ता था कि मानो बाकी तारे उसके प्रयास में उसका मज़ाक उड़ा रहे हों।