गाड़ी पर सवार होने के बाद संवदिया के मन में काँटे की चुभन का अनुभव क्यों हो रहा था? उससे छुटकारा पाने के लिए उसने क्या उपाय सोचा?
Open in App
Solution
गाड़ी पर सवार होकर उसे बड़ी बहुरिया का एक-एक वचन काँटे के समान चुभ रहा था। आज तक वह जितने भी संवाद लेकर गया था, वे ऐसे नहीं थे। इसमें एक बेचारी बेटी अपनी माँ से सहायता के लिए पुकार रही थी। उसकी मार्मिक दशा का वर्णन उसके एक-एक वचन से होता था। उसके वचन संवदिया को दुखी कर रहे थे। उसने उनसे छुटकारा पाने के लिए पुराने संदेशों को याद करने लगा। साथ ही उसने एक पुराना संवदिया गीत भी याद किया।