(क) मिनी को ऐसा क्यों लगता था कि काबुलीवाला अपनी झोली में चुराए हुए बच्चों को छिपाए हुए है?
(ख) मिनी की काबुलीवाले से मित्रता क्यों हो गई?
(ग) काबुलीवाला हमेशा पैसे क्यों लौटा देता था?
(घ) वर्षों बाद मिनी के पिता ने काबुलीवाले को उसकी किस बात से पहचान लिया?
(क) काबुलीवाले के पास एक बड़ा-सा झोला होता था। वह उसे सदैव अपने कंधे पर रखता था। उसे देखकर उसके मन में यह विश्वास हो गया था कि काबुलीवाला अपनी झोली में दो-चार बच्चे चुराकर छिपा लेता है। यह विश्वास उसे अपनी माँ द्वारा भी आ सकता है क्योंकि घर के बड़े बच्चों को डराने के उद्देश्य से ऐसी बातें कह देते हैं। इस तरह वे अजनबियों से बच्चों को दूर रखने का प्रयास करते हैं।
(ख) काबुलीवाला मिनी के पिताजी के अतिरिक्त ऐसा दूसरा व्यक्ति था, जो मिनी की बात बड़े ध्यानपूर्वक सुनता था। वह हमेशा मिनी को बादाम-किशमिश देता था तथा उसके दिल बहलाने के लिए मज़ेदार बातें भी किया करता था। बस इसी कारणों से दोनों के मध्य दूरियाँ समाप्त हो गई और वे अच्छे मित्र बन गए।
(ग) काबुलीवाला मिनी से बहुत प्यार किया करता था। मिनी जैसी ही उसकी भी एक बेटी थी। मिनी को खुश करके उसे लगता था कि वह अपनी बिटिया को खुश कर रहा है। वह मिनी के लिए काजू-बादाम-किशमिश लाया करता था। बेटी के लिए लायी भेंट के लिए पैसे लेना उसे अच्छा नहीं लगता था। अत: वह उसके बदले दिए जाने वाले पैसे लौटा दिया करता था।
(घ) जब वर्षों बाद मिनी के पिता से मिलने काबुलीवाला आया, तो वह उसे उसकी हँसी देखकर पहचान पाए थे।