कक्कू कोयल जैसा क्यों नहीं है? लिखो।
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कोयल मिश्री जैसा मीठा गाती है। उसकी आवाज़ सुनकर सब प्रसन्न हो जाते हैं। कक्कू इसके उल्टा है। वह न तो गाता है, न खुश रहता है, बात-बात पर चिढ़ जाता है। उसके साथ लोग प्रसन्न नहीं रह पाते हैं इसलिए वह कोयल जैसा नहीं है।