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Question

Q. Consider the following statements with regards to the Poona Pact:

Which of the statements given above is/are correct?

Q. पूना पैक्ट के संबंध में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए: उपर्युक्त कथनों में से कौन सा/से सही है/हैं?

A

1 only
केवल 1
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B

1 and 2 only
केवल 1 और 2
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C

3 only
केवल 3
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D

1, 2 and 3
1, 2 और 3
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Solution

The correct option is C
3 only
केवल 3
Explanation:

Statement 1 is incorrect:
Gandhiji visualised a Separate electorate to depressed classes through communal award as an attack on India and it’s nationalism. To persuade the depressed classes for a joint electorate he went on an indefinite fast at Yerwada jail in Poona. Finally, B.R. Ambedkar on behalf of the Depressed classes signed the Poona pact on September 24, 1932. Hence, it was for the Depressed classes not for the Muslims.

Statement 2 is incorrect: It increased seats reserved for the depressed classes from 71 to 147 in provincial legislatures and 18 percent of the total in the Central legislature. (Not for the Muslims).

Statement 3 is correct: The government accepted the Poona Pact as an amendment to the Communal Award. As it was the Communal Award that granted a separate electorate to Muslims, Europeans, Depressed classes, Sikhs, Indian Christians, Anglo Indians, Women and Marathas.
Perspective:

Context:
Questions related to significant developments which took place during the freedom struggle are asked by UPSC in the preliminary examination.

In this type of question, we have to analyse the given statement very carefully to find the catch. Statement 1 and 2 mentioned that Poona Pact is related to Muslims. But we are aware of the fact (a student should familiarise himself/herself with important events related to Indian national freedom movement) that it was signed by Gandhiji and B.R. Ambedkar in the context of a separate electorate given to the depressed classes by Communal award. We can utilise this information to infer that B.R. Ambedkar was the leader of Depressed Classes (Dalits) not Muslims. Hence, Statement 1 and 2 seems incorrect. After eliminating 1 and 2, only Statement 3 has to be correct so Option (c) should be the right answer.

Further, our basic information related to the ‘causes’ of important events during Indian National Movement would let us know that the Poona Pact was signed after the announcement of the Communal Award (which provided separate electorates for depressed classes). And it was an effort to modify the communal award as Mahatma Gandhi was of the view that providing separate electorates for depressed classes would divide the Indian people and would hamper the struggle for freedom. This led to the signing of the Poona Pact. As Dr. Ambedkar was the most prominent leader for the cause of depressed classes and his acceptance would ultimately force the British to accept the pact as an amendment to the Communal award. By using this reasoning also we can arrive at the conclusion that Statement 3 has to be correct.

व्याख्या:

कथन 1 गलत है:
गाँधी जी ने सांप्रदायिक पंचाट के माध्यम से दलितों को पृथक निर्वाचक मंडल प्रदान करने को भारत और इसके राष्ट्रवाद पर हमले के रूप में देखा। संयुक्त निर्वाचक मंडल के लिए दलितों को मनाने के लिए वह पूना की यरवदा जेल में अनिश्चितकालीन अनशन पर चले गए। अंत में, बी.आर. अंबेडकर ने 24 सितंबर, 1932 को दलितों की ओर से पूना समझौते पर हस्ताक्षर किए। इसलिए, यह मुस्लिमों के लिए नहीं बल्कि दलितों के लिए था

कथन 2 गलत है: इसने प्रांतीय विधायिकाओं में दलितों के लिए आरक्षित सीटों को 71 से बढ़ाकर 147 और केंद्रीय विधायिका में कुल 18 प्रतिशत कर दिया। (मुसलमानों के लिए नहीं)।

कथन 3 सही है: सरकार ने पूना समझौता को सांप्रदायिक पंचाट में संशोधन के रूप में स्वीकार किया।अपने मूल स्वरुप में सांप्रदायिक पंचाट ने मुसलमानों, यूरोपियों, दलितों, सिखों, भारतीय ईसाइयों, एंग्लो इंडियन, महिलाओं और मराठों को एक अलग निर्वाचक मंडल प्रदान किया था।
परिप्रेक्ष्य:

संदर्भ:
स्वतंत्रता संग्राम के दौरान हुए महत्वपूर्ण घटनाक्रमों से संबंधित प्रश्न प्रारंभिक परीक्षा में UPSC द्वारा पूछे जाते हैं।

इस प्रकार के प्रश्न में, हमें दिए गए कथन का बहुत सावधानी से विश्लेषण करना होगा ताकि संकेत का पता लगाया जा सके। कथन 1 और 2 में उल्लेख किया गया है कि पूना समझौता मुसलमानों से संबंधित है। लेकिन हम इस तथ्य से अवगत हैं (एक छात्र को भारतीय राष्ट्रीय स्वतंत्रता आंदोलन से संबंधित महत्वपूर्ण घटनाओं से परिचित होना चाहिए) इस पर गांधीजी और अम्बेडकर द्वारा सांप्रदायिक पंचाट द्वारा दलितों को दिए गए पृथक निर्वाचक मंडल के संदर्भ में हस्तर किये गए थे। हम इस जानकारी का उपयोग यह पता लगाने के लिए कर सकते हैं कि बी.आर. अंबेडकर मुस्लिमों के नहीं बल्कि दबे हुए वर्गों (दलितों) के नेता थे। इसलिए, कथन 1 और 2 गलत प्रतीत होता है। 1 और 2 को विलोपित करने के बाद, केवल कथन 3 को सही होना है इसलिए विकल्प (c) सही उत्तर होना चाहिए।

इसके अलावा, भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन के दौरान महत्वपूर्ण घटनाओं के ’कारणों’ से संबंधित हमारी बुनियादी जानकारी हमें बताती है कि पूना समझौते पर हस्ताक्षर सांप्रदायिक पंचाट (जो दलितों के लिए अलग निर्वाचक मंडल प्रदान करते थे) की घोषणा के बाद किए गए थे। और यह सांप्रदायिक पंचाट को संशोधित करने का एक प्रयास था क्योंकि महात्मा गांधी का विचार था कि दलितों के लिए अलग निर्वाचक मंडल प्रदान करना भारतीय लोगों को विभाजित करेगा और स्वतंत्रता संघर्ष को बाधित करेगा। इसके चलते पूना समझौते पर हस्ताक्षर किए गए। चूंकि डॉ. अंबेडकर दलितों के सबसे प्रमुख नेता थे और उनकी स्वीकृति के कारण अंततः अंग्रेजों को समझौते को सांप्रदायिक पंचाट के संशोधन के रूप में स्वीकार करने के लिए बाध्य होना पड़ा। इस तर्क का उपयोग करके भी हम इस निष्कर्ष पर पहुँच सकते हैं कि कथन 3 को सही होना चाहिए।

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