विषयसूची:
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1. भारत और तंजानिया रक्षा सहयोग को मजबूत करेंगे:
सामान्य अध्ययन: 2
अंतर्राष्ट्रीय सम्बन्ध:
विषय: द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक समूह और भारत से सम्बंधित और/अथवा भारत के हितों को प्रभावित करने वाले करार।
मुख्य परीक्षा: भारत,तंजानिया रक्षा संबंधों पर प्रकाश डालिये।
प्रसंग:
- भारतीय सेना के प्रमुख जनरल मनोज पांडे 2 से 5 अक्टूबर 2023 तक तंजानिया की आधिकारिक यात्रा पर हैं।
उद्देश्य:
- भारत-तंजानिया रक्षा संबंधों में और अधिक मजबूती लाना।
विवरण:
- भारतीय सेना के प्रमुख का तंजानिया की राजधानी दार अस सलाम, ऐतिहासिक शहर जांजीबार और अरुशा का दौरा करने का कार्यक्रम है।
- भारतीय सेना प्रमुख तंजानिया की राष्ट्रपति सामिया सुलुहू हसन से मुलाकात कर सकते हैं।
- रक्षा मंत्री डॉ. स्टरगोमेना लॉरेंस टैक्स और चीफ ऑफ डिफेंस फोर्स जनरल जैकब जॉन मकुंडा के साथ आयोजित बैठकों को एजेंडे में शीर्ष पर रखा हैं।
- सेना प्रमुख जांजीबार का भी दौरा करेंगे और जांजीबार के राष्ट्रपति महामहिम डॉ. हुसैन अली म्विनी से मुलाकात करेंगे।
- इसके अलावा, 101वीं इन्फैंट्री ब्रिगेड के कमांडर जनरल सैदी हमिसी सैदी के साथ बातचीत भी निर्धारित है।
- जनरल मनोज पांडे राष्ट्रीय रक्षा कॉलेज को भी संबोधित करेंगे और मेजर जनरल विल्बर्ट ऑगस्टीन इबुगे कमांडेंट व संकाय के साथ बातचीत करेंगे।
- इसके अतिरिक्त, इस यात्रा के दौरान दुलुती के कमांड एंड स्टाफ कॉलेज के कमांडेंट ब्रिगेडियर जनरल स्टीफन जस्टिस मनकंडे के साथ एक बैठक भी निर्धारित है।
- यह यात्रा दार-अस-सलाम में आयोजित दूसरे भारत तंजानिया मिनी डेफएक्सपो के अनुरूप भी है जो भारत के स्वदेशी रक्षा उद्योग परिसर के बढ़ते कौशल का प्रदर्शन करेगी।
- भारत व तंजानिया के बीच द्विपक्षीय रक्षा संबंध मजबूत और समृद्ध होंगे।
- अक्तूबर, 2003 में रक्षा सहयोग पर समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर ने एक मजबूत नींव रखी।
- इस सहयोग के महत्व के बारे में इस वर्ष 28 और 29 जून को तंजानिया के अरुशा में आयोजित भारत-तंजानिया संयुक्त रक्षा सहयोग समिति की दूसरी बैठक में जोर दिया गया।
- भारतीय और तंजानियाई सेना दोनों पेशेवर सैन्य पाठ्यक्रमों में एक-दूसरे के लिए रिक्तियां प्रदान करते हैं।
- इससे दोनों देशों के कर्मियों को मजबूत संबंध बनाने, विचारों का आदान-प्रदान करने और सर्वोत्तम कार्यप्रणालियों को साझा करने में मदद मिली है।
- तंजानिया की सेना पिछले पांच वर्षों से भारत में संयुक्त राष्ट्र शांति रक्षा प्रशिक्षण में लगातार भाग ले रही है।
- इसी तरह, भारतीय सेना की एक प्रशिक्षण टीम को वर्ष 2017 से कमांड एंड स्टाफ कॉलेज, दुलुती में तैनात किया गया है।
- तंजानिया के सैन्य प्रतिनिधिमंडल नियमित रूप से भारत का दौरा कर रहे हैं जो दोनों देशों के बीच मजबूत सैन्य सहयोग का प्रतीक है।
- हाल ही में, तंजानियाई प्रतिनिधिमंडलों ने एयरो इंडिया 23, इंडो अफ्रीका आर्मी चीफ्स कॉन्क्लेव-23 और एएफआईएनडेक्स-23 में उल्लेखनीय उपस्थिति दर्ज कराई।
- तंजानिया के वरिष्ठ सैन्य नेताओं ने भी डेफ एक्सपो-22 के दौरान भारत का दौरा किया और हाल ही में 13वें आईपीएसीसी, 47वें आईपीएएमएस और 9वें सेल्फ-23 कार्यक्रम संपन्न हुए।
- हाल ही में, तंजानियाई प्रतिनिधिमंडलों ने एयरो इंडिया 23, इंडो अफ्रीका आर्मी चीफ्स कॉन्क्लेव-23 और एएफआईएनडेक्स-23 में उल्लेखनीय उपस्थिति दर्ज कराई।
- भारतीय सेना प्रमुख की यह यात्रा भारत और तंजानिया के बीच साझा किए गए उच्च स्तरीय द्विपक्षीय रक्षा संबंधों और घनिष्ठ रक्षा संबंधों को और मजबूत करती है।
- यह यात्रा न केवल मौजूदा सहयोग का उत्सव मनाने का संकेत है, बल्कि एक मजबूत भविष्य की साझेदारी का मार्ग भी प्रशस्त करती है।
प्रारंभिक एवं मुख्य परीक्षा की दृष्टि से कुछ महत्वपूर्ण तथ्य:
1. दिव्यांगजनों को मिला देश का पहला हाईटेक खेल प्रशिक्षण केंद्र:
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2 अक्टूबर महात्मा गांधी जयन्ती के मोके पर दिव्यांगजनों के लिए देश के पहले हाईटेक खेल प्रशिक्षण केंद्र का पूर्व प्रधानमंत्री स्व: अटल बिहारी वाजपेयी के नाम से मध्यप्रदेश के ग्वालियर में उद्घाटन किया।
- यह उद्घाटन कार्यक्रम एक समावेशी और सुलभ खेल ईकोसिस्टम को बढ़ावा देने के प्रति समर्पण प्रदर्शित करने के लिए एक मंच के रूप में काम करेगा।
- यह महत्वपूर्ण पहल सभी के लिए खेल समावेशिता और पहुंच को बढ़ावा देने की हमारे देश की प्रतिबद्धता को रेखांकित करती है।
- दिव्यांग खेलों के लिए अटल बिहारी प्रशिक्षण केंद्र दिव्यांग व्यक्तियों को खेल में समान अवसर प्रदान करने, उनकी प्रतिभा को बढ़ावा देने और विभिन्न खेल विषयों में उनकी भागीदारी को प्रोत्साहित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम का प्रतिनिधित्व करता है।
- देशभर के दिव्यांग जन खिलाड़ी इस स्टेडियम में प्रक्टिस व अभ्यास कर सकते हैं।
- दिव्यांग खेलों के लिए अटल बिहारी प्रशिक्षण केंद्र एक अत्याधुनिक सुविधा है जो दिव्यांग एथलीटों के प्रशिक्षण और समर्पित है के लिए इसमें दिव्यांग एथलीटों के लिए सर्वोत्तम संभव प्रशिक्षण वातावरण प्रदान करने के लिए विश्व स्तरीय बुनियादी ढांचा और कोचिंग स्टाफ मौजूद है।
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