विषयसूची:
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- राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस
सामान्य अध्ययन-3
अर्थव्यवस्था:
विषय: जलीय कृषि
प्रारंभिक परीक्षा: राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस के बारे में
मुख्य परीक्षा: राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस, नीली क्रांति और प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना (PMMSY) के बारे में
संदर्भ:
- एक स्थायी और संपन्न मत्स्य पालन क्षेत्र सुनिश्चित करने की दिशा में मत्स्य किसानों, जलीय कृषि उद्योग के पेशेवरों और अन्य हितधारकों के अमूल्य योगदान को पहचानने और सराहना करने के लिए हर साल 10 जुलाई को राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस मनाया जाता है।
विवरण:
- राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस 2023 पूरे देश के लिए मत्स्य किसानों के व्यापक योगदान और टिकाऊ जलीय कृषि के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को पहचानने का एक अवसर है।
- जिम्मेदार प्रथाओं को अपनाकर और मत्स्य पालन क्षेत्र की क्षमता का दोहन करके, हम एक समृद्ध भविष्य सुनिश्चित कर सकते हैं, खाद्य सुरक्षा बढ़ा सकते हैं और राष्ट्र के समग्र विकास में योगदान कर सकते हैं।
- राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस भारतीय मत्स्य पालन क्षेत्र में प्रोफेसर डॉ. हीरालाल चौधरी और उनके सहयोगी डॉ. के. एच अलीकुन्ही के योगदान का सम्मान और स्मरण करने के लिए मनाया जाता है, जिन्होंने आज ही के दिन 1957 को हाइपोफिज़ेशन तकनीक द्वारा भारतीय मेजर कार्प्स में इंडयूस्ड ब्रीडिंग एंड रीप्रोडकशन का मार्गदर्शन किया था, जिस तकनीक ने अंततः इनलैंड एकुआकल्चर में क्रांति ला दी।
- राष्ट्रीय मत्स्य किसान दिवस मत्स्य प्रोटीन की बढ़ती मांग को पूरा करने, रोजगार के अवसर पैदा करने और देश की खाद्य सुरक्षा में योगदान देने में मत्स्य किसानों द्वारा निभाई गई महत्वपूर्ण भूमिका को स्वीकार करने का एक अहम मंच है।
- यह आधुनिक एक्वाकल्चर तकनीकों को अपनाने, मत्स्य उत्पादकता में सुधार और जलीय संसाधनों के संरक्षण में उनके समर्पण और नवाचार पर प्रकाश डालता है।
- पिछले कुछ वर्षों में, वैज्ञानिक अनुसंधान और तकनीकी हस्तक्षेपों के कारण मत्स्य पालन क्षेत्र में उल्लेखनीय प्रगति देखी गई है।
- केंद्रीय बजट 2018 में, वित्त मंत्री ने मत्स्य पालन क्षेत्र के लिए 7522.48 करोड़ रुपये के कोष के साथ मत्स्य पालन और एक्वाकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फंड (FIDF) की स्थापना के संबंध में घोषणा की थी।
- इसका मकसद मछली उत्पादन को बढ़ाने के लिए समुद्री और अंतर्देशीय मत्स्य पालन दोनों में समग्र रूप से मत्स्य पालन और एक्वाकल्चर क्षेत्र में बुनियादी ढांचे के विकास को बढ़ावा देना है।
नीली क्रांति:
- मत्स्य पालन क्षेत्र को समग्र रूप से बदलने और देश में नीली क्रांति के माध्यम से आर्थिक उत्थान और समृद्धि लाने में भारत सरकार हमेशा सबसे आगे रही है।
- नीली क्रांति मिशन का उद्देश्य देश तथा मछुआरों एवं मत्स्य किसानों की आर्थिक समृद्धि प्राप्त करना तथा जैव सुरक्षा एवं पर्यावरणीय सरोकारों को ध्यान में रखते हुए संपोषणीय ढंग से मछली पालन विकास के लिए जल संसाधनों की पूर्णक्षमता के उपयोग के माध्यम से खाद्य एवं पोषण सुरक्षा में योगदान देना है।
- नीली क्रांति योजना के तहत मत्स्य पालन का एकीकृत विकास और प्रबंधन पहल, 2016 में 3,000 करोड़ रुपये के निवेश के साथ शुरू की गई थी जिसने मत्स्य पालन क्षेत्र को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना (PMMSY):
- 2020 में, प्रधानमंत्री ने प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना (PMMSY) का अनावरण किया, जो भारत में मत्स्य पालन क्षेत्र के सतत और जिम्मेदार विकास के माध्यम से नीली क्रांति लाने की एक योजना है, जिसमें पांच वर्षों की अवधि में कुल मिलाकर 20,050 करोड़ रुपये के निवेश की परिकल्पना की गई है।
- PMMSY का प्राथमिक उद्देश्य 2024-25 तक मछली उत्पादन को प्रभावशाली 22 MMT तक बढ़ाना है।
- इस महत्वाकांक्षी कार्यक्रम का उद्देश्य क्षेत्र में लगभग 55 लाख लोगों के लिए रोजगार के अवसर प्रदान करना भी है।
- PMMSY सतत वृद्धि और विकास पर जोर देकर मत्स्य पालन क्षेत्र को बदलने और लाखों लोगों के जीवन में सुधार लाने के लिए तैयार है।
- यह कार्यक्रम निजी क्षेत्र की भागीदारी, उद्यमशीलता की वृद्धि, व्यवसाय मॉडल के विकास, व्यवसाय करने में आसानी को बढ़ावा देने, नवाचारों और पहलों के लिए अनुकूल वातावरण को बढ़ावा देते हुए मत्स्य पालन और जलीय कृषि में नवीनतम नवाचारों जैसे स्टार्ट-अप, इनक्यूबेटर आदि को शामिल करने पर भी जोर देता है।
प्रारंभिक एवं मुख्य परीक्षा की दृष्टि से कुछ महत्वपूर्ण तथ्य:
- DPIIT ने एक जिला एक उत्पाद पुरस्कारों की घोषणा की:
- उद्योग संवर्धन और आंतरिक व्यापार विभाग (DPIIT) ने 15 जून को राष्ट्रीय पुरस्कार पोर्टल पर एक जिला एक उत्पाद (ODOP) पुरस्कारों की शुरुआत की है।
- ये महत्वपूर्ण पुरस्कार उन लोगों को पहचान दिलाने और सम्मानित करने के लिये दिये जायेंगे जिन्होंने अपने अपने जिलों में, राज्यों/संघ शासित प्रदेशों और विदेश स्थित अंतर्राष्ट्रीय मिशनों में ODOP के जरिये आर्थिक विकास के क्षेत्र में असाधारण उपलब्धि हासिल की है।
- इन पुरस्कारों के लिये आवेदन प्रक्रिया 25 जून 2023 को शुरू हो चुकी है और आवेदन 31 जुलाई 2023 तक किए जा सकते हैं। सभी राज्यों/संघ शासित प्रदेशों, जिला प्रशासनों और विदेश स्थित भारतीय मिशन इसमें भागीदारी के पात्र हैं।
- पुरस्कारों में निम्न बातों पर ध्यान दिया जायेगाः
- सफल ODOP प्रयासों में रचनात्मक प्रतिस्पर्धा, नवाचार और सक्षम सार्वजनिक सेवा डिलीवरी को प्रोत्साहित किया जायेगा;
- अनुभवों को साझा करने के जरिए सर्वोत्तम कार्यप्रणाली को दोहराने और संस्थानीकरण को बढ़ावा देना, और
- ODOP उत्पादों की आपूर्ति श्रृंखला में आने वाली अड़चनों की पहचान और समाधान के लिए किए गए नवाचारों को मान्यता देना।
- एक जिला एक उत्पाद (ODOP) कार्यक्रम का उद्देश्य देश के सभी जिलों के सामाजिक-आर्थिक विकास को प्रोत्साहन देना और देश के प्रत्येक जिले से एक उत्पाद का चयन, उसकी ब्रांडिंग और संवर्धन करना है। इसके साथ ही चयनित ODOP उत्पादों की बाजार तक पहुंच और उनकी निर्यात संभावनाओं का दोहन करने के लिए समूची आपूर्ति श्रृंखला के प्रत्येक बिंदु पर समस्याओं की पहचान और उनका समाधान करना है।
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