विषयसूची:
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18 April 2024 Hindi PIB
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1. DRDO ने स्वदेशी तकनीक से निर्मित क्रूज मिसाइल की उड़ान का सफल परीक्षण किया:
सामान्य अध्ययन: 3
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी:
विषय: विज्ञानं एवं प्रौद्योगिकी में भारत कि उपलब्धियां; देशज रूप से प्रौद्योगिकी का विकास और नई प्रौद्योगिकी का विकास।
प्रारंभिक परीक्षा: रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO), स्वदेशी तकनीक से निर्मित क्रूज़ मिसाइल,एसयू-30-एमके-I विमान।
प्रसंग:
- रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन ने 18 अप्रैल, 2024 को ओडिशा के तट पर एकीकृत परीक्षण रेंज, चांदीपुर से स्वदेशी तकनीक से निर्मित क्रूज़ मिसाइल की उड़ान का सफल परीक्षण किया।
उद्देश्य:
- परीक्षण के दौरान प्रक्षेपास्त्र की सभी उप-प्रणालियों ने आशानुरूप प्रदर्शन किया।
- मिसाइल के प्रदर्शन की निगरानी के लिए एकीकृत परीक्षण रेंज-आईटीआर ने विभिन्न स्थानों पर रडार, इलेक्ट्रो ऑप्टिकल ट्रैकिंग प्रणाली (ईओटीएस) और टेलीमेट्री जैसे कई रेंज सेंसर लगाए थे।
- भारतीय वायुसेना के एसयू-30-एमके-I विमान द्वारा प्रक्षेपास्त्र की उड़ान पर से भी नजर रखी गई।
विवरण:
- मिसाइल ने मार्गदर्शक समुद्री प्रणाली का उपयोग करके लक्षित पथ का अनुसरण किया और बहुत कम ऊंचाई वाली समुद्री-स्किमिंग उड़ान का प्रदर्शन किया।
- इस सफल उड़ान परीक्षण ने गैस टर्बाइन अनुसंधान प्रतिष्ठान (जीटीआरई), बेंगलुरु द्वारा विकसित स्वदेशी संचालन प्रणाली के विश्वसनीय प्रदर्शन को भी स्थापित किया है।
- बेहतर और विश्वसनीय प्रदर्शन सुनिश्चित करने के लिए प्रक्षेपास्त्र उन्नत एवियोनिक्स और सॉफ्टवेयर से भी लैस है।
- इस प्रक्षेपास्त्र को अन्य प्रयोगशालाओं और भारतीय उद्योगों के योगदान के साथ बेंगलुरु स्थित रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन प्रयोगशाला वैमानिकी विकास प्रतिष्ठान द्वारा विकसित किया गया है।
- रक्षा मंत्री ने स्वदेशी तकनीक से निर्मित क्रूज़ मिसाइल के सफल उड़ान-परीक्षण के लिए रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन को बधाई दी और कहा कि स्वदेश संचालित लंबी दूरी की सबसोनिक क्रूज मिसाइल का सफल विकास भारतीय रक्षा अनुसंधान एवं विकास की एक प्रमुख उपलब्धि है।
- स्वदेशी तकनीक से निर्मित क्रूज़ मिसाइल रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन द्वारा निर्मित की गई हैं।
2. इरेडा का गिफ्ट सिटी कार्यालय हरित हाइड्रोजन और नवीकरणीय ऊर्जा उत्पादन परियोजनाओं को बढ़ावा देगा:
सामान्य अध्ययन: 3
बुनियादी ढांचा:
विषय: बुनियादी ढांचा: ऊर्जा।
प्रारंभिक परीक्षा: भारतीय अक्षय ऊर्जा विकास संस्था लिमिटेड (इरेडा), हरित हाइड्रोजन,नवीकरणीय ऊर्जा।
प्रसंग:
- भारतीय अक्षय ऊर्जा विकास संस्था लिमिटेड (इरेडा) ने गांधीनगर स्थित गिफ्ट सिटी में अपने एक कार्यालय की शुरुआत की है, जो विदेशी मुद्राओं में ऋण विकल्प प्रदान करने में विशिष्टता प्राप्त होगा।
उद्देश्य:
- इससे नेचुरल हेजिंग (जोखिम प्रबंधन रणनीति) की सुविधा प्राप्त होगी। साथ ही, हरित हाइड्रोजन और नवीकरणीय ऊर्जा विनिर्माण परियोजनाओं के लिए वित्तपोषण लागत में भी काफी कमी आएगी।
विवरण:
- इरेडा के सीएमडी ने राष्ट्रीय हरित हाइड्रोजन मिशन के तहत 2030 तक 5 मिलियन मीट्रिक टन प्रति वर्ष (एमटीपीए) से अधिक हाइड्रोजन उत्पादन के महत्वाकांक्षी लक्ष्य को प्राप्त करने में ऊर्जा भंडारण की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया।
- इसके अलावा उन्होंने भंडारण प्रौद्योगिकियों के विकास के लिए कई प्रमुख प्राथमिकताओं को रेखांकित किया।
- सीएमडी ने लागत कम करने और ऊर्जा भंडारण समाधानों के प्रदर्शन में सुधार के लिए अनुसंधान व विकास संबंधित प्रयासों को बढ़ाने की जरूरत पर जोर दिया।
- उन्होंने ऊर्जा भंडारण प्रौद्योगिकियों को सफलतापूर्वक कार्यान्वित करने के लिए आपूर्ति श्रृंखला नेटवर्क को मजबूत करने वाली नीतियों को लागू करने की आवश्यकता का भी उल्लेख किया।
- उन्होंने कहा कि प्रतिस्पर्धी और अनुकूलित वित्तीय समाधान प्रदान करने से ऊर्जा भंडारण परियोजनाओं में निवेश को बढ़ावा मिलेगा।
- भारत ने इस दिशा में विभिन्न सक्रिय कदम उठाए हैं।
- इनमें साल 2047 तक भंडारण आवश्यकता रोडमैप का निर्माण, टेक्नोलॉजी-एग्नॉस्टिक भंडारण निविदाएं और बैटरी विनिर्माण व पंप भंडारण जलविद्युत परियोजनाओं के लिए सहायक सरकारी हस्तक्षेप शामिल हैं।
- केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण ने साल 2030-31 तक लगभग 400 गीगावाट-घंटे (जीडब्ल्यूएच) की भंडारण आवश्यकता का अनुमान लगाया है, जिसमें अनुमानित निवेश 3.5 लाख करोड़ रुपये से अधिक है।
- इरेडा प्रतिस्पर्धी दरों पर उभरती प्रौद्योगिकियों के लिए अभिनव उत्पादों के प्रावधान के माध्यम से नवीकरणीय ऊर्जा वित्तपोषण में अव्वल रहा है और भारत में ऊर्जा भंडारण प्रौद्योगिकियों को कार्यान्वित करने को लेकर सहायता के लिए प्रतिबद्ध है।
पृष्ठ्भूमि:
- इरेडा के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक (सीएमडी) श्री प्रदीप कुमार दास ने 17 अप्रैल, 2024 को संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) स्थित अबू धाबी में आयोजित वर्ल्ड फ्यूचर एनर्जी सम्मेलन- 2024 में “लंबी अवधि के ऊर्जा भंडारण के लिए भविष्य में विकास के अवसर” विषय पर एक पैनल चर्चा के दौरान उस रणनीतिक पहल को रेखांकित किया, जो देश के हरित भविष्य की यात्रा में अपना योगदान देगा।
प्रारंभिक एवं मुख्य परीक्षा की दृष्टि से कुछ महत्वपूर्ण तथ्य:
आज इससे सम्बंधित कुछ नहीं हैं।
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